Friday 13 October 2017

★राजसमन्द झील के लिए - "बयान" के स्थान पर "कार्य" हो !★ ◆"आमजन नेता" का "जन नेता" (राजनेता) से प्रश्न :-◆ (१) क्या जल “सहेजना" का मतलब जल "संरक्षण" है ? (२) क्या जल "सहेजना" का मतलब जल के "दुरुपयोग" को रोकना है ? (३) क्या जल का "दुरुपयोग", प्रकृति के "प्रसाद" का अपमान करना है ? (४) क्या राजनेता / प्रशासन जल के "दुरुपयोग" को रोकना सुनिश्चित करेगा ? (५) क्या राजनेता जो "कहते" है , वह वास्तविकता में जनहित में “करते” है ? (६) क्या राजनेता / प्रशासन “सिचाई” में जितने जल की “आवश्यकता” है, उतना जल ही झील से देंगे ? (७) क्या राजनेता / प्रशासन सिचाई केसमय जल के "दुरुपयोग / व्यर्थ" जाने से रोकना सुनिश्चित करेंगे? (८) क्या राजनेता / प्रशासन राजसमंद झील के जल को “सरकार के उद्देश्य” (जल "संरक्षण")को पूरा करेंगे ? (९) क्या राजनेता सिचाई के समय जल के “दुरुपयोग” होने पर अधिकारियो पर “जवाबदेही" सुनिश्चित करेंगे ? (१०) क्या राजनेता राजसमंद झील के जल का हक़दार "केवल किसानो" को ही मानती है ? (११) क्या राजनेता झील संरक्षण में किसानो, राजसमंद के निवासीयो, व्यापारियो, सामाजिक कार्यकर्ता व झील प्रेमीयो की “समानरूप” से सहभागिता के साथ “निर्णय” लेंगे ? (१२) क्या राजनेता / प्रशासन "जल वितरण समिति" के साथ "झील संरक्षण समिति" के निर्णय पर भी विचार करेंगे ? CA. Dinesh Sanadhya = 13.10.2017 www.dineshapna.blogspot.in















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