Monday 25 March 2024

★ "सत्य के लिए युद्ध" अभियान★ ★ होली पर रंगों की बहार ! गालियों की बौछार ! ★ होली पर अनेकों प्रकार के रंग लगाये जाते किन्तु हम केवल तीन रंग - तीन प्रकार के लोगो को लगायेंगे :- (१) केसरिया रंग - त्याग व बलिदान का भाव - यह रंग उसे लगाया जाये जो अपने धर्म / ईष्ट / श्रीनाथजी / सरकार / कर्तव्य / वेतन देने वाले के प्रति समर्पित / त्याग / कर्तव्य पालन करता हो ! जो दूसरों के लिये जीता हो ! (२) लाल रंग - भौतिकता का भाव - यह रंग उसे लगाया जाये जो भौतिकता का भाव रखता हो, जो धन व सम्पत्ति के लिए धर्म / श्रीनाथजी / नैतिकता / रिश्ते / गुरु-शिष्य-सखा / कानून / कर्तव्यों को भी भूल जाता हो ! जिसे अपना स्वार्थ व धन ही नजर आता हो ! जो अपने लिए जीता हो व दूसरों का हक छिनता हो ! (३) काला रंग - धर्म / कानून विरुद्ध का भाव - यह रंग उसे लगाया जाये जो धर्म / कानून विरुद्ध कार्य करता हो ! जो धन व सम्पत्ति के लिए किसी का भी नुकसान करता हो ! जो धर्म विरुद्ध / श्रीनाथजी विरुद्ध / कानून विरुद्ध कार्य करता हो ! जो अपने लिए जीता हो व दूसरों को नुकसान पहुँचाता हो ! हम सरकारी अधिकारी , मठाधीश व बोर्ड मैम्बर्स को तीन प्रकार के रंग लगायेगे :- (१) सरकारी अधिकारी का मन्दिर पर नियंत्रण होना ही संविधान विरुद्ध है ! तो भी कुछ अधिकारी जो श्रीनाथजी के प्रति समर्पित है उनको केसरिया रंग लगाया जाये ! शेष अधिकांश अधिकारीयो को लाल व काला रंग लगाया जाये ! (२) आचार्य श्री / महाराज श्री / मठाधीश का मन्दिर मे पुजारी / श्रीजी सेवक का कार्य करते हुए श्रीनाथजी की सम्पत्तियों पर नियंत्रण व लूट होना ही श्रीनाथजी की साक्षात् आज्ञा के विरुद्ध है ! श्रीवल्लभाचार्य जी व उनकी कुछ वंशज जो श्रीनाथजी के प्रति समर्पित थे उनको केसरिया रंग लगाया जाये ! शेष महाराज श्री / मठाधीश को लाल व काला रंग लगाया जाये ! (३) बोर्ड सदस्यों का मन्दिर मे हस्तक्षेप व नियंत्रण होना तथा जो बृजवासियों के अधिकारो को छिनना ही, श्रीनाथजी की साक्षात् आज्ञा के विरुद्ध है ! तो भी कुछ बोर्ड सदस्य जो श्रीनाथजी के प्रति समर्पित है उनको केसरिया रंग लगाया जाये ! शेष बोर्ड सदस्यों को लाल व काला रंग लगाया जाये ! ----------------------------------------- ●●●● आओ ! कुछ होली की गालीयाँ दे ! ●●●● [ मन्दिर पर सरकारी नियंत्रण करने वाले व श्रीनाथजी की सम्पत्ति लूटने वाले "सम्पत्ति चोर" व "आधुनिक मुगल" है ! ] [मठाधीश जो बृजवासियों के अधिकार छिनकर श्रीनाथजी की आज्ञा नहीं मानने वाले "आज्ञा चोर" है !] [बोर्ड सदस्य जो पुष्टि मार्ग के आत्मसमर्पण के भाव को आत्मसात नहीं करते है व चुप रहते है, वह "जमीन चोर" है !] ●●●● बुरा मत मानो होली है ! ●●●● सीए. दिनेश सनाढ्य - एक बृजवासी #(139) #25/03/24 #dineshapna






 

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