Saturday 18 February 2023

★हम भारत को हिन्दू राष्ट्र ही क्यों बनाये ?★ ★धर्म व संविधान v/s सम्प्रदाय/ पंथ/मजहब★ (१)हम "समाज व देश" को सुचारू रुप से चलाने व सभी व्यक्तियों को आनन्द, सुख, शान्ति, सन्तुष्टि व प्रगति करने के लिए "धर्म व संविधान" बनाते है ! (२)धर्म :- आज से 2300 वर्ष पूर्व केवल सनातन धर्म ही था किन्तु उसमें कुछ अच्छा व नया करने के लिए नये धर्म/सम्प्रदाय/पंत/मजहब का निर्माण हुआ ! तो भी आज उक्त परिवर्तन के बावजूद भी सभी व्यक्तियो को "आनन्द, सुख, शान्ति, सन्तुष्टि व प्रगति" समान रूप से नहीं मिल पाई ! अतः हमे इस पर पुनः विचार करने की आवश्यकता है ! (३)संविधान :- दुनिया मे तीन तरह के संविधान है ! 1- जो किसी एक ही धर्म को मानता है ! 2- जो किसी भी धर्म को नहीं मानता है ! 3- जो सभी धर्मों को मानता है अर्थात् "धर्मनिरपेक्ष" है ! वर्तमान मे तीनों तरह के संविधान से सभी व्यक्तियों को पूर्ण रूप से "आनन्द, सुख, शान्ति, सन्तुष्टि व प्रगति" नहीं मिल पा रही है क्योंकि कोई भी एक धर्म ऐसा नहीं है जो सभी धर्मों को साथ लेकर चल सके ! (४)दुनिया मे केवल एक धर्म "सनातन धर्म" ही ऐसा है जो सभी धर्मों को साथ लेकर चल सकता है इसलिए यह धर्म आदि काल से चल रहा है और अनादि काल तक चलता रहेगा ! इस धर्म मे सभी धर्मों को आत्मसात करने की शक्ति है ! (५)भारत ने मुस्लिम राज भी देखा, ईसाई राज भी देखा व धर्मनिरपेक्ष राज भी देख रहा है किन्तु किसी भी राज से सभी व्यक्तियों को पूर्ण रूप से "आनन्द, सुख, शान्ति, सन्तुष्टि व प्रगति" नहीं प्राप्त हुई है ! अतः अब एक बार भारत को "हिन्दू राष्ट्र" बनाकर देखना चाहिए ! सीए. दिनेश सनाढ्य - एक हिन्दुस्तानी #(275) #18/02/23 #dineshapna










 

No comments:

Post a Comment